मुनिश्री विहसंत सागर महाराज के लोहमंडी मंदिर में मंगल प्रवचन हुए ऐसी कोई चिज नही, जिस पर अहंकार करेंः मुनिश्री

May 10 2019


        ग्वालियर-अहंकार में व्यक्ति फूलता है, खिलता नही है। फूलने वाली चीज किसी भी दिन फट जाती है। अहंकारी व्यक्ति अपयष के भय से छोटे व्यक्तियों से भी सीखने से वचित रह जाता है। दुनिया में ऐसी कोई चीज नही, जियकव लिए अहंकार ंिकया जा सके। बड़े से बड़े राजा-महाराजा भी काल के गाल में समाने से बच नहीं पाए है। यह विचार जैन मेडिटेषन विहसंत सागर मुनिराज ने आज षुक्रवार को लोहमंडी स्थित लाला गोकुलचंद जैसवाल दिगंबर जैन मंदिर में धर्मसभा को संबोधित करते हुए व्यक्त किए। मंच मुनिश्री विष्वसूर्य सागर महाराज भी मौजूद थे। 
         मुनिश्री ने कहा कि अहम और वहम जीवन को पतन की ओर ले जाने कव आसान उपाय है। व्यक्ति को कल्पनाषील होना चाहिए, परतुं अति  कल्पनाषील नही। अति कल्पनाषील और गलत अनुमान चिड़चिडापन पैदा करदेता हैं। वैज्ञानिक भी कल्पनाषील व्यक्ति बनते है। उनकी कल्पना विष्वास से भरपूर होती है, जबकि हमारी कल्पनाएं अंधविष्वास से भरी होती है। व्यक्ति जब कमाई कम और खर्च अधिक की स्थिति में होता है, तो अति कल्पनाषील विचारधारा का हो जाता है। जैन धर्म व जैन सिद्धांत में व्यक्ति की नही गुणो की पूजा होती है। मुनिश्री ने कहा ंिक मिटना सीखो, मिटाना मत सीखो, मिटोगे तभी बनोगे। आटे की लोई की रोटी बनने कव लिए मिटाना पडता है। मानव कव मस्तिश्क में सबसें बड़ा षत्रु मान है। आत्म कल्याण के पहले मानरूपी षत्रु को नश्ट करना पडे़गा।
 
 मुनिश्री के चरणो में मन्दिर कमेटी के अध्यक्ष पदमचंद जैन, मंत्री देवेद्र जैन, नवरंग जैन, दिलीप जैन, राहुल जैन, अभिलाश जैन, मनीश जैन, पवन जैन, अलोक जैन, दिनेष जैन, चक्रेष जैन, ज्योतिशचार्य एच. सी जैन एवं प्रवक्ता सचिन जैन ने श्रीफल चढकार आर्षिवाद लिया।
जैन मदिर में प्रवचन होगे, मुनिश्री के ये रहेगे कार्यकाम
      जैन समाज प्रवक्ता सचिन आदर्ष कलम ने बताया कि मुनिश्री विहसंत सागर एवं मुनिश्री विष्वसूर्य सागर महाराज लोहमंडी स्थित जैन मंदिर में मंगल प्रवचन प्रात 8.30 से 9.30 तक होगे। इसके बाद 10 बजे से आहारचर्या, दोपहर 3.30 बजे से तत्वचर्चा एवं सॉयकाल 6.15 से आचार्य भक्ति, गुरूभक्ति एवं आरती होगी।